उत्तराखंड
बड़ी खबर: भूकंप से फिर दहला बागेश्वर और पिथौरागढ़, दहशत में लोग..
देहरादून: उत्तराखंड के पिथौरागढ़ और बागेश्वर जिले में सोमवार यानि आज दोपहर लोग तब सहम से गए जब करीब 12 बजकर 18 मिनट पर भूकंप के झटके महसूस किए गए। वहीं भूकंप का झटका हल्का होने की वजह से अन्य इलाकों में इसे महसूस नहीं किया गया। भूकंप के झटके महसूस होने पर लोग अपने-अपने घरों से बाहर निकल आए हालांकि संतोष की बात यह है कि कहीं से भी किसी प्रकार के नुकसान होने की सूचना नहीं है। भूकंप की तीव्रता रिक्टर स्केल पर 3.7 मैग्नीट्यूट दर्ज की गई है। इसका केंद्र पिथौरागढ़ के मुनस्यारी में जमीन के भीतर करीब दस किलोमीटर बताई जा रही है। भूकंप से पिथौरागढ़ जिले के नाचनी क्षेत्र व मुनस्यारी और बागेश्वर जिले के कपकोट आदि स्थानों पर लोगों को ज्यादा झटके महसूस किए गए। विगत 19 फरवरी को भी इन दोनों जिलों में भूकंप के झटके महसूस किए गए थे। रिक्टर पैमाने पर भूकंप की तीव्रता चार मापी गई थी। इसका केंद्र पिथौरागढ़ जिले के डीडीहाट में आठ किमी की गहराई में था।
आपको बता दें कि भूकंप की दृष्टि से उत्तराखंड बहुत ही संवेदनशील राज्य है। राज्य के अति संवेदनशील जोन जिनमें रुद्रप्रयाग (अधिकांश भाग), बागेश्वर, पिथौरागढ़, चमोली, उत्तरकाशी जिले आते हैं। गौरतलब है कि भूकंप के लिहाज से उत्तराखंड संवेदनशील है। समय समय पर उत्तराखंड के कई इलाकों में भूकंप के झटके महसूस किए जाते रहे हैं। आपको बता दें कि उत्तराखंड के साथ ही हिमाचल प्रदेश, उत्तर प्रदेश समेत आसपास के क्षेत्रों में भूकंप के पूर्वानुमान की अब और अधिक सटीक जानकारी मिल पाएगी। भाभा एटॉमिक रिसर्च सेंटर मुंबई और यूसर्क की ओर से देहरादून के राजकीय स्नातकोत्तर महाविद्यालय मालदेवता में राज्य का पहला रेडान सेंटर स्थापित किया गया है, जिससे भविष्य में किसी बड़े नुकसान से बचा जा सकेगा।

लेटेस्ट न्यूज़ अपडेट पाने के लिए -
👉 उत्तराखंड टुडे के वाट्सऐप ग्रुप से जुड़ें
👉 उत्तराखंड टुडे के फेसबुक पेज़ को लाइक करें
Latest News -
भारतीय छात्रों के लिए बेहतरीन विकल्प बन रहा है फिलीपींस
बागेश्वर ट्वेंटी पॉइंट कार्यक्रम में अव्वल, सामाजिक योजनाओं में उत्कृष्ट कार्यों की मिली पहचान
जिला प्रशासन की संजीवनी से नये स्वरूप में लौटा मायाकुंड सामुदायिक केन्द्र; स्वतः संचालन शुरू
मुख्यमंत्री धामी की अध्यक्षता में उत्तराखण्ड कैंपा शासी निकाय की बैठक हुई
त्रिस्तरीय पंचायत चुनाव को लेकर कार्मिकों का हुआ पहला रेन्डमाइजेशन
