उत्तराखंड
रक्षाबंधन: शोभन-गजकेसरी योग के साथ इस बार भद्रा नहीं, भाइयों को पूरे दिन राखी बांध सकेंगी बहनें…
आज घरों से लेकर बाजारों तक उत्सव का माहौल है। दुकानों में राखी और मिठाई (घेवर) सजी हुई है। महिलाओं ने घरों में स्वादिष्ट पकवान बनाना शुरू कर दिया है। शनिवार शाम मेहंदी लगाने के लिए बहनें बाजार पहुंची। देर शाम तक रक्षाबंधन की खरीदारी को लेकर बाजारों में चहल-पहल रही। रविवार को भी दुकानों पर खरीदारी के लिए भीड़ लगी हुई है।
बहनें भाइयों की कलाई में रक्षा सूत्र बांधना शुरू कर दिया है। इसके साथ बहनें भाइयों के आने की राह भी देख रहीं हैं। वहीं भाइयों ने इस त्योहार पर बहनों को देने के लिए खास गिफ्ट खरीदें हैं। वहीं सोशल मीडिया पर मैसेजों का आदान-प्रदान सुबह से ही प्रारंभ हो गया है। घरों और दुकानों पर रेडियो, मोबाइल और टीवी से रक्षाबंधन के गानों की आवाज सुनाई पड़ रही है। आज भाई-बहन का पावन त्योहार रक्षाबंधन पूरे देश भर में धूमधाम के साथ मनाया जा रहा है।
इस बार यह त्योहार सबसे शुभ घड़ी में आया है। राखी पर कोई ‘भद्रा’ नही पड़ रही है। इस लिए पूरे दिन बहनें अपने भाइयों को राखी बांध सकती हैं।ज्योतिषियों के अनुसार इस साल रक्षाबंधन का त्योहार घनिष्ठा नक्षत्र में पड़ रहा है। इस नक्षत्र में पैदा होने वाले भाई-बहन का रिश्ता बहुत मजबूत होता है तथा इस नक्षत्र में राखी बांधने से भाई-बहन के बीच मनमुटाव दूर होते हैं तथा आपस में प्यार बढ़ता है। राखी के दिन धनिष्ठा नक्षत्र शाम को 07 बजकर 40 मिनट तक रहेगा। इसके अतिरिक्त इस साल पूर्णिमा तिथि पर भद्रा नहीं लग रहा है इसलिए पूरे दिन राखी बांधी जा सकेगी। हालांकि की पूर्णिमा की तिथि पर शाम को 05.14 बजे से 6.49 बजे तक राहु काल रहेगा।
राहु काल में कोई भी शुभ कार्य नहीं करना चाहिए। इस समय को छोड़ कर पूरे दिन राखी बांधी जा सकेगी। इसके साथ ही इस दिन शोभन और गजकेसरी योग भी बन रहा है। गजकेसरी योग में राखी बंधना अत्यंत शुभ और लाभप्रद माना जाता है।बृहस्पति और चंद्रमा की युति के कारण इस साल राखी पर गजकेसरी योग का निर्माण हो रहा है। गज केसरी योग को बहुत ही शुभ माना जाता है। इस साल राखी के दिन बृहस्पति ग्रह कुंभ राशि में वक्री रहेगा तथा चंद्रमा इसके साथ रहने के कारण गजकेसरी योग बन रहा है। इस योग में किए जाने वाले सभी कार्य सफल सिद्ध होते हैं और सभी मनोकामनाओं की पूर्ति करते हैं।
गजकेसरी योग व्यक्ति को राजसी सुख और माना-सम्मान दिलाता है। हालांकि सुबह 10 बजकर 33 मिनट तक शोभन योग रहेगा, इस योग में राखी बांधना शुभ रहेगा। गजकेसरी योग में पूरे दिन राखी बांधी जाएगी। यहां हम आपको बता दें कि ये त्योहार हर साल सावन माह की पूर्णिमा के दिन मनाया जाता है। इस दिन बहन अपने भाई की कलाई पर रक्षासूत्र बांधती हैं (जिसे हम राखी कहते हैं) और उनके सुखी जीवन की कामना करती हैं। हिंदू धार्मिक मान्यताओं अनुसार सबसे पहले देवी लक्ष्मी ने राजा बली को राखी बांधकर अपना भाई बना लिया था। ये त्योहार भाई-बहनों के लिए खास माना जाता है।
इस दिन बहनें अपने भाइयों की कलाई पर रक्षा सूत्र बांधकर उनके खुशहाल जीवन की कामना करती हैं। दूसरी ओर हर साल की तरह इस बार भी उत्तराखंड, उत्तर प्रदेश और राजस्थान की सरकारों ने रक्षाबंधन पर बहनों और महिलाओं को रोडवेज बसों में मुफ्त यात्रा करने का तोहफा दिया है। वहीं इस पावन त्योहार पर राष्ट्रपति, प्रधानमंत्री समेत तमाम नेताओं ने शुभकामनाएं दी हैं।
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