उत्तराखंड
UPCL: अप्रैल महीने से महंगी हो सकती है बिजली, बढ़ोतरी का प्रस्ताव तैयार
देहरादून: प्रदेश में बिजली दरों में बढ़ोतरी का प्रस्ताव तैयार किया गया है। इसे अंतिम रूप यूपीसीएल बोर्ड बैठक में दिया जाएगा। यहां बोर्ड की मुहर के बाद मंजूरी के लिए उत्तराखंड विद्युत नियामक आयोग भेजा जाएगा। आयोग जनसुनवाई प्रक्रिया के बाद इसे फाइनल करेगा। इस बार आयोग को प्रस्ताव भेजने में एक महीने की देरी हो गई है। नियामक आयोग से हरी झंडी मिलने के बाद प्रदेश में बिजली की नई दरें एक अप्रैल से लागू हो जाएंगी।
यूपीसीएल को हर साल सभी खर्च और नुकसान के हिसाब से बिजली की दरें तय करनी होती हैं। इस बार यूपीसीएल की ओर से निर्धारित 31 दिसंबर तक प्रस्ताव नहीं भेजा जा सका। यूपीसीएल ने आयोग से 15 जनवरी तक का समय मांगा है।
आधिकारिक सूत्रों के मुताबिक, यूपीसीएल ने बिजली दरों का नया टैरिफ तैयार कर लिया है। इसके तहत आम उपभोक्ताओं के लिए प्रति यूनिट दो से चार प्रतिशत और औद्योगिक इकाईयों के लिए प्रति यूनिट चार से छह प्रतिशत का प्रस्ताव तैयार किया गया है।
अब इस प्रस्ताव को बोर्ड बैठक में लाया जाएगा। बोर्ड से मुहर लगने के बाद इसे नियामक आयोग को भेज दिया जाएगा। यह प्रस्ताव 15 जनवरी तक नियामक आयोग को भेजा जाना है।
जानकारी के अनुसार नियामक आयोग इस प्रस्ताव में कटौती कर सकता है। इसमें 50 प्रतिशत या इससे अधिक तक कटौती भी हो सकती है। नियामक आयोग अगर 50 प्रतिशत कटौती करता है तो आम उपभोक्ताओं के लिए प्रति यूनिट एक प्रतिशत और औद्योगिकी इकाईयों के लिए प्रति यूनिट दो प्रतिशत की बढ़ोतरी होगी।
साथ ही यूपीसीएल ने बाह्य स्रोतों से बिजली लेने वाले उपभोक्ताओं के लिए 1.16 रुपये प्रति यूनिट सरचार्ज का प्रस्ताव आयोग को भेजा है। अगर नियामक आयोग इस पर मुहर लग देता है तो ऐसे उपभोक्ताओं को एक अप्रैल 2021 से 30 सितंबर 2021 के बीच प्रति यूनिट 1.16 रुपये सरचार्ज भी देना होगा। फिलहाल इस पर उपभोक्ता चाहें तो अपने सुझाव नियामक आयोग को भेज सकते हैं। इसके बाद आयोग इस पर फैसला लेगा।
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