उत्तराखंड
राजनीति: उत्तराखंड में वैक्सीन को लेकर बयानबाज़ी का दौर जारी, आमने सामने राजनीतिक पार्टियां..
देहटादून: जहां देश प्रदेश कोरोना वैक्सीन के बनने के बाद राहत की सांस ले रहा है वहीं राजनीतिक पार्टियां एक दूसरे पर आरोप और बयानबाज़ी करते नजर आ रहे हैं। कोरोना वैक्सीन का टीकाकरण अभियान पूरे देश सहित प्रदेश में शुरू हो गया है तो वहीं प्रदेश में टीके लगने के साथ आरोप भी लगा रहे हैं। टीके बनने की खबर के बाद से ही उत्तराखंड में इस मुद्दे पर बयानबाजी शुरू होने लगी थी।
टीकाकरण को लेकर राजनीतिक दलों की बयानबाजी और तेज होती जा रही है। टीकाकरण अभियान को लेकर बीजेपी की ओर से एक कार्यक्रम आयोजित किया गया था। जिसको लेकर विपक्षी दलों ने हंगामा करना शुरू कर दिया है। प्रधानमंत्री की तरफ से देशभर सहित उत्तराखंड में टीकाकरण का शुभारंभ बीते दिन 16 जनवरी को किया गया था।
प्रदेश में टीकाकरण अभियान का शुभारंभ मुख्यमंत्री त्रिवेंद्र सिंह रावत ने दून अस्पताल से वर्चुअल कार्यक्रम में किया था। जिसको लेकर विपक्षी पार्टियों की बयानबाजी तेज हो गई है। बीजेपी के नेताओं ने भी सभी दलों सहित कांग्रेस पर निशाना साधा हुए कहा कि टीकाकरण को लेकर लोगों में भ्रम की स्थिति पैदा न करें।
बीजेपी नेताओं ने कहा कि खुद सीएम त्रिवेंद्र ने केंद्र से 20,000 अतिरिक्त वैक्सीन की डोज की मांग की है। वहीं मुख्यमंत्री ने विपक्षी पार्टियों को वैक्सीन को भाजपा की वैक्सीन ना समझने का संदेश देकर कांग्रेस को भी आड़े हाथों लिया है।
मुख्यमंत्री त्रिवेंद्र के इस बयान के बाद कांग्रेस की तरफ से भी इसका जवाब आना लाजमी था। हालांकि इससे पहले भी कांग्रेस इस बात को लेकर बीजेपी पर आरोप लगाती रही है कि वैक्सीनेशन के काम को एक कार्यक्रम के रूप में प्रस्तुत करके बीजेपी इसका लाभ लेना चाहती है। वहीं राजनीतिक रूप से यह जताने की कोशिश की जा रही है जैसे वैक्सीन वैज्ञानिकों ने नहीं बल्कि बीजेपी ने बनाई हो। कांग्रेस ने बीजेपी पर वैक्सीन जैसे विषयों पर राजनीति करने का आरोप लगाया है और इसे बीजेपी का राजनीतिक एजेंडा करार दिया जा रहा है।
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