उत्तराखंड
कवायद: ग्रामीणों ने की संगठन की औपचारिकता पूरी, विकास कार्यों को लेकर हुए एकजुट…
नरेंद्रनगर/विकास चन्द्र रयाल: उत्तराखंड में टिहरी गढ़वाल के मां पावकी देवी प्रांगण में “पावकी देवी दोगी पट्टी विकास संघर्ष समिति” का गठन पूर्ण रूप से हो गया है। समिति का गठन दोगी पट्टी की समस्याओं के निदान और विकास के लिए किया गया है। रविवार को समिति का पदग्रहण समारोह हुआ। जिसमें समिति के सभी सदस्यों को पद दें दिए गए है। पदाधिकारियों ने शपथ ग्रहण समारोह में भाग लिया। इस दौरान सभी पदाधिकारियों ने भेदभाव, जातिवाद, क्षेत्रवाद, पार्टी वाद से उठकर निजी स्वार्थ को त्यागकर अपने दोगी पट्टी क्षेत्र व समस्त मानव जाति के लिए कार्य करने और दोगी पट्टी क्षेत्र में चल रहे तमाम प्रकार की समस्याओं के लिए हर व्यक्ति के साथ खड़े रहने की शपथ ली।
बता दें कि समिति के संरक्षक मंडल में सुरेंद्र सिंह कैन्तुरा पूर्व प्रमुख, गुणानंद कुलियाल पूर्व ब्लाक प्रमुख दयाल सिंह चौहान, शूरवीर सिंह कप्सुड़ी को पद मिला है। वहीं अध्यक्ष पद की जिम्मेदारी यशवंत राणा को सौपी गई है। जबकि वरिष्ठ उपाध्यक्ष के पद पर-बन्ने सिंह जेठुडी को चयनित किया गया। समिति का उपाध्यक्ष नया पंचायत बुकाला से सूरत सिंह पुंडीर, न्याय पंचायत बेलगांव से राम दयाल सिंह पुंडीर को बनाया गया है। वहीं महासचिव पद पर विकास चंद्र रयाल को चुना गया। सचिव पद पर राजेश कबसुडी को चुना गया। सह सचिव पद पर न्याय पंचायत बुगाला से उपेंद्र राणा, नया पंचायत बैराईगांव से विपिन चौहान को चुना गया। इसी प्रकार संयुक्त सचिव विमला देवी रयाल को चुना गया। प्रचार सचिव में ग्राम पंचायत बुगाला से गौतम कबसुडी ,ग्राम पंचायत बराई गांव से रघुवीर सिंह पुंडीर को चुना गया। जबकि कोषाध्यक्ष पद पर बलवीर सिंह कबसुडी भूतपूर्व रिटायर्ड कर्नल को नियुक्त किया गया है। विधिक सलाहकार के पद पर सरदार सिंह पुंडीर को चुना गया। संयोजक के पद पर वाचस्पति रयाल को चुना गया। समिति प्रवक्ता के पद पर शिव शंकर रयाल जी व सुमेद सिंह पुंडीर को चुना गया। वहीं मुख्य सलाहकार की जिम्मेदारी जगदीश कुलियाल को सौपी गई है। जबकि कार्यकारिणी के लेखा परीक्षक पद पर संजय दत्त रयाल को चुना गया।
सभी सदस्यों ने शपथ ली है कि सभी सदस्य एकजुट होकर पट्टी दोगी की समस्याओं के निराकरण के लिए लड़ेंगे और हर व्यक्ति का साथ देंगे और हर व्यक्ति की लड़ाई लड़ेंगे। इस दौरान समिति ने जल्दी क्षेत्र में व्याप्त सभी प्रकार की समस्याओं से निदान पाने के लिए ठोस रणनीति भी बनाई। इसके साथ ही जल्दी पेयजल समस्या, नेटवर्क समस्या, हॉस्पिटल -स्वास्थ्य समस्या इसी प्रकार अन्य सभी समस्याओं को दूर करने के लिए भी रणनीति बनाई और साथ ही शिक्षा को दुरुस्त करने के लिए शासन, प्रशासन और सरकार को जगाने के लिए क्या- क्या कदम उठाने हैं इस पर भी चर्चा की।
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